Friday, June 20, 2008

आगे बी जाने न तू

आगे भी जाने न तू,

पीछे भी जाने न तू

जो भी है, बस यही एक पल है

आगे भी जाने न तू…



अनजाने सायो का राहो में डेरा है

अनदेखी बाहों ने हम सबको घेरा है

ये पल उजाला है बाक़ी अँधेरा है

ये पल गवाना न ये पल ही तेरा है

जीने वाले सोच ले यही वक्त है

कर ले पुरी आरजू

आगे भी ...

इस पल के जलवों ने महफिल सवारी है

इस पल की गर्मी ने धड़कन उभारी है

इस पल के होने से दुनिया हमारी है

ये पल जो देखो तो सदियों पे भारी है

जीने वाले सोच ले यही वक्त है कर ले

पुरी आरजू

आगे भी ...

इस पल के साए में अपना ठिकाना है

इस पल के आगे ही हर शे फ़साना है

कल किसने देखा है कल किसने जाना है

इस पल से पायेगा जो तुझको पाना है

जीने वाले सोच ले यही वक्त है कर ले

पुरी आरजू

आगे भी ...

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